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CAA कानून पर तिलमिलाए पाकिस्तान ने उगला भारत के खिलाफ जहर, कहा- “अल्पसंख्यकों को लेकर हमें बदनाम करने की कोशिश…”

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भारत में सिटीजनशिप अमेंडमेंट एक्ट-2019 लागू होने पर पाकिस्तान बौखला गया है. भारत के नागरिकता संशोधन अधिनियम पर पाकिस्तान की तरफ से सरकारी बयान सामने आया है. पाकिस्तान ने CAA को ‘भेदभावपूर्ण’ करार देत हुए कहा, यह कानून धर्म के आधार पर लोगों में भेदभाव करता है..”

ख़बर पड़ताल:- पाकिस्तान ने सीएए को भेदभावपूर्ण बताते हुए कहा है कि यह कानून धर्म के आधार पर लोगों को बांटने वाला है. पाकिस्तान ने बकायदा बयान जारी कर कहा है कि इस कानून से भारत के मुस्लिमों को डरने की जरूरत नहीं है क्योंकि सीएए से उनकी नागरिकता पर कोई असर नहीं पड़ेगा।

पाकिस्तान के विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता मुमताज जहरा बलोच ने कहा कि ये स्पष्ट है कि सीएए और इसके नियम भेदभावकारी हैं क्योंकि ये धर्म के नाम पर लोगों को बांटने वाले हैं।

उन्होंने कहा कि ये नियम गलत धारणा पर आधारित हैं, जिनमें माना जाता है कि मुस्लिम देशों में अल्पसंख्यकों का उत्पीड़न किया जा रहा है और भारत अल्पसंख्यकों के लिए सुरक्षित पनाहगाह है. मुमताज ने कहा कि सीएए की आलोचना करते हुए पाकिस्तान की संसद में 16 दिसंबर 2019 को भी एक प्रस्ताव भी पारित किया गया था, जिसमें सीएए को समानता के अंतर्राष्ट्रीय नियमों के खिलाफ बताया था।

सीएए पर अमेरिका ने क्या कहा?

भारत में सीएए का नोटिफिकेशन जारी के होने के बाद अमेरिका ने भी इस पर प्रतिक्रिया दी है. अमेरिका ने कहा है कि वह सीएए के नोटिफिकेशन को लेकर चिंतित है और इस पर नजर रखे हुए है.

अमेरिकी विदेश विभाग के प्रवक्ता मैथ्यू मिलर ने कहा कि भारत ने 11 मार्च को नागरिकता संशोधन विधेयक का नोटिफिकेशन जारी किया, जिसे लेकर हम चिंतित हैं. हम इस पर करीब से नजर रखे हुए हैं कि इस कानून को किस तरह से लागू किया जाएगा. धार्मिक स्वतंत्रता का सम्मान और कानून के तहत सभी समुदायों के साथ समान व्यवहार मूलभूत लोकतांत्रिक सिद्धांत हैं।


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