ख़बर पड़ताल ब्यूरो:- थाने में एक युवक ने विषाक्त पदार्थ का सेवन कर लिया, जिसे देखकर पुलिस के हाथ पैर फूल गए। पीड़ित को स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती कराया, जहां से उसकी हालत नाजुक होने पर झांसी रेफर कर दिया गया। आरोप है कि एक युवक ने पति-पत्नी का आपत्तिजनक वीडियो बनाकर सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया था। पीड़ित का कहना है कि पुलिस भी सुनवाई नहीं कर रही थी। जिससे आहत होकर पीड़ित ने शाहजहांपुर थाना परिसर में ही जहर खा लिया। इसके बाद पुलिस ने पीड़ित की तहरीर के आधार पर मुकदमा दर्ज कर लिया है।
वि ओ 1 = जानकारी के अनुसार, शाहजहांपुर थाना क्षेत्र के एक गांव के रहने वाले पति-पत्नी राजस्थान के भिवाणी नगर में रहकर मजदूरी करते थे। उनके साथ उन्हीं के गांव का एक युवक मजदूरी करने गया, जो पड़ोस में रहता था। पीड़ित का आरोप है कि वहां पर युवक ने पत्नी के साथ संबंध बनाते हुए वीडियो बना लिया और इसे यहां-वहां वायरल करने लगा। जिस फैक्ट्री में वह मजदूरी करता था, वहां भी कई लोगों को उसने यह वीडियो दिखाया था।
वि ओ 2 = बदनामी होते देख पीड़ित अपनी पत्नी और बच्चों को लेकर राजस्थान से अपने गांव लौट कर आ गया। इनके पीछे-पीछे आरोपी युवक भी गांव आया और उसने गांव के लोगों को भी वही आपत्तिजनक वीडियो दिखाना शुरू कर दिया। पीड़ित का कहना है कि जब यह वीडियो गांव में फैली तो लोग उसे जगह-जगह टोकने लगे। समाज में उसकी पत्नी से छींटाकशी होने लगी और वह भी खुलकर गांव में नहीं निकल पा रहा था। इससे परेशान होकर जब वह आरोपी युवक के घर पहुंचा तो उसके और उसकी पत्नी के साथ आरोपी और उसके परिजनों ने मिलकर मारपीट कर दी।
वि ओ 3 = पीड़ित की पत्नी बताती है कि आरोपी युवक लगातार बेलगाम होता गया। जब उसने आरोपी से से वीडियो हटाने की बात कही तो वह उसे पर दबाव बनाने लगा कि तुम मेरे साथ संबंध स्थापित करो नहीं तो तुम्हें समाज में बुरी तरह बदनाम कर दिया जाएगा। पीड़िता के मुताबिक आरोपी के साथ गांव की एक महिला और कुछ अन्य लोग भी उसका वीडियो वायरल करने में शामिल थे।
जब पीड़िता परेशान हो गई तो आखिर में उसने पुलिस की शरण ली। करीब 3 दिन पहले उसने पुलिस से लिखित शिकायत कर दी। पीड़िता ने कहा कि पुलिस ने उसे पति के साथ थाने में बुलाया और वीडियो वायरल होने का सुबूत मांगने लगी, जबकि उसके मोबाइल में उक्त वीडियो नहीं था, जो आरोपी युवक अपने मोबाइल से ही वायरल कर रहा था। पुलिस ने राजीनामा करने का भी दबाव बनाया।
पीड़ित का कहना है कि वह थाने गया तो पुलिस उससे ही वायरल वीडियो मांगने लगी लेकिन वीडियो उसके पास नहीं बल्कि आरोपी युवक के मोबाइल में था, जो अपने मोबाइल से गांव के लोगों को वीडियो दिखा रहा था। उसने शाहजहांपुर थाने में तैनात एक दरोगा पर यह भी आरोप लगाया कि उसने आरोपी युवक से सांठ-गांठ कर ली और उसके मोबाइल से उक्त वीडियो डिलीट कर दिया। पीड़ित का कहना है कि पुलिस की कार्यशैली में संतुष्टि और युवक आरोपी के विरुद्ध नरम मिज़ाज के चलते उसकी आशाएं टूट गई। अब उसे अपने सामने कोई चारा नजर नहीं आ रहा था। वीडियो वायरल होने से वह लगातार मानसिक तनाव में चल रहा था। जब उसे न्याय की किरण ना दिखाई तो उसने विषाक्त पदार्थ का सेवन कर लिया पीड़ित कहता है कि उसने थाने के भीतर जान देने की ठान ली और जहर खा लिया।
जैसे ही युवक ने जहर खाया शाहजहांपुर थाना अध्यक्ष साजेश सिंह और पुलिस कर्मियों के हाथ पैर फूल गए। फिर भी पुलिस ने युवक को मेडिकल में भर्ती करना उचित नहीं समझा और पहले उसकी तहरीर पर मुकदमा दर्ज किया। जैसे ही यह सूचना पीड़ित के परिजनों को मिली वह निजी वाहन से उसे मोंठ सीएचसी में लेकर पहुंचे। जहां चिकित्सकों ने उसे प्राथमिक उपचार दिया, हालत में सुधार न होने पर झांसी रेफर कर दिया।