उत्तराखंड: राज्य में डीजीपी अशोक कुमार ने अधिकारियों की जमकर क्लास लगाई साथ ही साथ बता दें की डीजीपी अशोक कुमार ने कहा की अपराधियों में कम हो रहा है दून पुलिस का खौफ। आपको बता दें की बीते कुछ दिनों से राज्य की राजधानी देहरादन की कानून व्यवस्था बिगड़ती नजर आ रही है। बता दें की इस बिगड़ती कानून व्यवस्था से खफा डीजीपी अशोक कुमार ने एसएसपी कार्यालय पहुंचकर दून पुलिस के अधिकारियों की अलग से क्लास लगाई। बता दें की डीजीपी अशोक कुमार ने कहा कि अपराधियों में पुलिस का डर खत्म हो रहा है। इस खौफ को बनाए रखने के लिए सख्ती बढ़ानी पड़ेगी। सख्ती ऐसी हो कि कोई भी अपराध करने से पहले 100 बार पुलिस के बारे में सोचे। बाहर के बदमाश राजधानी में शरण न लेने पाएं और अगर यहां आ भी गए तो बचने न पाएं। आपको बता दें की उत्तराखंड राज्य में जिस तरह अपराधिक घटनाएं बड़ रही है। इसके साथ ही साथ राजधानी देहरादून में कानून व्यवस्था बिगड़ती नजर आ रही है बता दें की बीते कुछ दिनों में हुई घटनाओं से कानून व्यवस्था पर सवाल भी उठ रहे हैं। सरेबाजार छोटी सी बात को लेकर एक युवक पर हमला हुआ। हथियारबंद बदमाशों ने बुजुर्ग अधिवक्ता के घर लूट को अंजाम दिया। अगले दिन एक मनचले ने कोचिंग से आती छात्रा पर फायर झोंक दिया। इसके बाद कभी धरना-प्रदर्शन के दौरान सुरक्षा घेरा तोड़ना तो कभी आरोपी को पकड़ने में पुलिस की लापरवाही का मामला सामने आया। ये घटनाएं ऐसी थीं जिनसे लगा कि वाकई अपराधियों के मन से पुलिस का डर खत्म हो गया है।
इस बिगड़ती कानून व्यवस्था को देखते हुए दून पुलिस को जगाने के लिए खुद डीजीपी अशोक कुमार को आना पड़ा। सोमवार को एसएसपी कार्यालय पहुंचे डीजीपी ने पहले सभी घटनाओं में हो रही कार्रवाई की प्रगति का ब्योरा लिया। इसके बाद पुलिस अधिकारियों को कानून व्यवस्था को मजबूत करने के लिए सख्ती बढ़ाने के निर्देश दिए। डीजीपी के कहा कि अपराधियों में पुलिस का खौफ रहना चाहिए। इससे पुलिस का इकबाल भी बना रहेगा। उन्होंने कुल छह बिंदुओं पर पुलिस को गंभीरता से काम करने के निर्देश दिए। इनमें यातायात व्यवस्था भी शामिल रही। डीजीपी ने कहा कि जिले के अधिकारियों को ज्यादा से ज्यादा फील्ड में रहना होगा ताकि आपराधिक मानसिकता वाले लोगों में पुलिस का डर बना रहे। इससे स्ट्रीट क्राइम पर रोक लगेगी और भविष्य में कानून व्यवस्था मजबूत रहेगी। सीमाओं पर चौकसी बरती जाए। पिछले पांच वर्षों में जिन लोगों पर गैंगस्टर एक्ट की कार्रवाई की गई है उनका ब्योरा इकट्ठा करने के निर्देश भी डीजीपी ने दिए। उन्होंने कहा कि इन गैंगस्टर की संपत्तियों को जब्त करने के लिए कार्रवाई करें ताकि उनकी आर्थिकी पर चोट की जा सके। अनैतिक कार्यों से बनाई उनकी संपत्ति हर हाल में जब्त होनी चाहिए। इसके साथ ही ड्रग माफिया की संपत्तियों को भी जब्त करने की कार्रवाई की जाए।
इसके अलावा आपको बता दें की डीजीपी अशोक कुमार ने कहा कि आंदोलन करने वालों पर विभिन्न धाराओं में मुकदमा दर्ज किया जाता है। लेकिन, ये धाराएं गिरफ्तारी वाली नहीं होती हैं। पुलिस केवल मुकदमा दर्ज कर इसे भूल जाती है। लेकिन, पुलिस अधिकारियों को इसका आगे भी फॉलोअप करना चाहिए। कोर्ट से उनके वारंट हासिल किए जाएं ताकि भविष्य में उनमें भी कानून का डर रहे। डीजीपी ने राजधानी में यातायात की समस्या को भी गंभीर विषय माना। उन्होंने कहा कि पुलिस को ऐसे उपाय करने चाहिए कि राजधानी में जाम न लगे। इसके लिए हितधारकों के साथ विस्तृत प्लान तैयार किया जाए। मौजूदा संसाधन में बढ़ोतरी करने के लिए प्रस्ताव बनाकर भेजेें। जिले की सीमाओं पर पीएसी का पहरा रहता है। इसके लिए देहरादून पुलिस को चार कंपनी पीएसी आवंटित की गई है। जिले में फोर्स की कमी को देखते हुए डीजीपी ने जिला पुलिस को एक कंपनी पीएसी और आवंटित करने के निर्देश दिए ताकि सीमाओं पर सघन चेकिंग हो सके।