उत्तराखंड: राज्य के हल्द्वानी स्थित राजकीय मेडिकल कालेज में रैगिंग का मामला सामने आया है बता दें की सीनियर छात्र वीडियो कॉल के जरिए नए छात्र की रैगिंग करते थे बता दें की राजकीय मेडिकल कॉलेज हल्द्वानी में अभी प्रवेश प्रक्रिया को एक महीना नहीं हुआ है लेकिन रैगिंग का मामला सामने आ गया है। जानकारी के मुताबिक राजकीय मेडिकल कॉलेज के एमबीबीएस द्वितीय वर्ष के छात्रों की ओर से प्रथम वर्ष के छात्र को वीडियो कॉल के जरिये गालीगलौज करने व मुर्गा बनाने का आरोप है।
आपको बता दें की इसके बाद रैगिंग का मामला सामने आने के बाद कालेज प्रशासन ने एमबीबीएस के एक सीनियर छात्र पर 50 हजार का जुर्माना लगाते हुए उसे तीन माह के लिए हास्टल से निष्कासित कर दिया है। इसके साथ ही 43 अन्य सीनियर्स पर 25-25 हजार रुपये का जुर्माना लगाया है। इसके साथ ही आपको बता दें कि राजकीय मेडिकल कालेज में एमबीबीएस प्रथम वर्ष में प्रवेश लेने वाले छात्र-छात्राओं की शनिवार को व्हाइट कोट सेरेमनी होनी थी। इससे पहले ही नौ दिसंबर की रात ढाई बजे 2021 बैच के एक सीनियर ने जूनियर को फोन कर कहा कि अन्य छात्रों को भी अपने ही कमरे में बुलाकर ले आओ। सभी व्हाइट कोट सेरेमनी के बारे में जानकारी देनी है। इस पर वह कुछ अन्य छात्रों को बुला लाया। इसके बाद सीनियर छात्र ने वीडियो काल किया लेकिन अपना चेहरा नहीं दिखाया। उसने सभी छात्रों का परिचय लिया। इस दौरान एक जूनियर छात्र ने सीनियर्स पर वीडियो काल के जरिये उसे गाली देने और मुर्गा बनाने का आरोप लगाया।
साथ ही बता दें की जब रात में मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य प्रो. अरुण जोशी को इसकी सूचना मिली तो वह वार्डन व टीम के साथ हास्टल पहुंच गए। पहले जूनियर छात्रों से जानकारी ली और फिर सीनियर छात्रों से मिले। इसके बाद शनिवार दोपहर एक बजे एंटी रैगिंग कमेटी की बैठक बुला ली गई। आपको बता दें की इसमें प्राचार्य, सिटी मजिस्ट्रेट ऋचा सिंह, एसपी सिटी हरबंश सिंह, सामाजिक कार्यकर्ता कुसुम दिगारी आदि मौजूद रहे। बता दें कॉलेज कमेटी ने सभी छात्रों और पीड़ित छात्र के अभिभावक के भी बयान लिए। सीनियर छात्रों ने घटना को स्वीकार किया।इसके बाद निर्णय लिया गया कि मोबाइल प्रयोग करने वाले एक सीनियर छात्र पर 50 हजार रुपये जुर्माना लगाने के साथ उसे तीन महीने के लिए हास्टल से निष्कासित किया जाएगा। बता दें की बाकी अन्य 43 सीनियर छात्रों को 25-25 हजार रुपये जुर्माना भरना होगा। प्राचार्य प्रो. जोशी ने बताया कि रात में फोन करना अनुशासनहीता है। भविष्य में किसी तरह की घटना न हो, इसके लिए यह कार्रवाई की गई है।