America opens the world’s largest Hindu temple… आपको बता दें की भारत के मित्र देश अमेरिका में दुनिया का सबसे बड़ा हिंदू मंदिर खुला है, आपको बता दें की सात समुदर पार भारत से हजारों मील दूर दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा हिंदू मंदिर बनकर तैयार है। रविवार, 8 अक्टूबर को मंदिर का उद्घाटन किया गया, आधुनिक युग में भारत के बाहर निर्मित दुनिया के दूसरे सबसे बड़े हिंदू मंदिर का उद्घाटन अमेरका के न्यू जर्सी में हुआ। इस मंदिर के निर्माण में लगभग 12 साल का समय लगा है।
दुनिया का दूसरा सबसे बड़ा हिंदू मंदिर
आपको बता दें की अमेरिका के न्यू जर्सी में सबसे बड़े हिंदू मंदिर का रविवार को हुआ, यह भव्य मंदिर भगवान स्वामीनारायण को समर्पित है। टाइम्स स्क्वायर, न्यूयॉर्क से लगभग 60 किमी दक्षिण में बना है, जबकि वाशिंगटन डीसी से लगभग 180 किमी उत्तर में न्यू जर्सी के छोटे रॉबिन्सविले टाउनशिप में यह मंदिर स्थित है। बीएपीएस स्वामीनारायण अक्षरधाम को 2011 से 2023 तक 12 साल में पूरे अमेरिका के 12,500 से अधिक वॉलंटियर्स द्वारा बनाया गया है।
183 एकड़ क्षेत्र में बना है अक्षरधाम मंदिर
मंदिर के औपचारिक उद्घाटन से पहले ही यहां दर्शन के लिए रोजाना हजारों लोग आते हैं। अधरधाम के नाम से प्रसिद्ध यह मंदिर 183 एकड़ क्षेत्र में बनाया गया है। इस मंदिर को प्राचीन हिंदू धर्मग्रंथों के अनुसार बनाया गया है और इसमें 10,000 मूर्तियों एवं प्रतिमाओं, भारतीय संगीत वाद्ययंत्रों और नृत्य रूपों की नक्काशी सहित प्राचीन भारतीय संस्कृति को दर्शाया गया है।
कहां है दुनिया का सबसे बड़ा हिंदू मंदिर
आपको बता दें की यह मंदिर कंबोडिया स्थित अंकोरवाट के बाद संभवत: दूसरा सबसे बड़ा मंदिर है। बता दें कि बारहवीं सदी में निर्मित अंकोरवाट मंदिर दुनिया का सबसे बड़ा हिंदू मंदिर है, जो 500 एकड़ में फैला है। यह यूनेस्को (संयुक्त राष्ट्र शैक्षणिक, वैज्ञानिक तथा सांस्कृतिक संगठन) का विश्व धरोहर स्थल है। नयी दिल्ली स्थित अक्षरधाम मंदिर 100 एकड़ में बना है। इसे 2005 में आम लोगों के लिए खोला गया था
आम लोगों के लिए कब से खुलेगा ये मंदिर’
अमेरिका के न्यू जर्सी स्थित अक्षरधाम मंदिर का औपचारिक रूप से उद्घाटन 8 अक्टूबर को किया गया और इसे 18 अक्टूबर से आम श्रद्धालुओं के लिए खोल दिया जाएगा। उद्घाटन के बाद भारी संख्या में यहां श्रद्धालुओं के पहुंचने उम्मीद है। बीएपीएस स्वामीनारायण संस्था के वरिष्ठ धार्मिक नेता अक्षरवत्सलदास स्वामी ने पूर्व में बताया था कि यह उनकी (प्रमुख स्वामी महाराज की) इच्छा थी और यह उनका संकल्प था। उनके संकल्प के अनुसार, यह अक्षरधाम पारंपरिक हिंदू मंदिर वास्तुकला के अनुरूप बनाया गया है।
रिपोर्ट: साक्षी सक्सेना